HDFC Bank के मैनेजिंग डायरेक्टर आदित्य पुरी ने बैंक के 74.2 लाख शेयर बेच दिए हैं। इस बिक्री के बाद अब पुरी के पास 0.01 फीसदी (3.76 लाख शेयर) हिस्सेदारी बची है। आपको बता दें की यह उनके कुल शेयरों का करीब 95 फीसदी है। आदित्य पुरी ने शेयरों की यह बिक्री अभी बीते सप्ताह 21 से 23 जुलाई के बीच में की है। इन शेयरों की कुल बिक्री 842.87 करोड़ रुपए में हुई है। 1994 में स्थापना के साथ से ही आदित्य पुरी एचडीएफसी बैंक के एमडी हैं।
स्टॉक एक्सचेंज के लेटेस्ट डाटा के अनुसार, इन ट्रांजेक्शन से पहले पुरी के पास HDFC Bank की 0.14 फीसदी (77.96 लाख शेयर) हिस्सेदारी थी। शेयर बिक्री ऐसे समय में हुई है जब पुरी बैंक के सबसे ऊंचे पद से अक्टूबर २०२० में रिटायर होने जा रहे हैं। HDFC Bank को भारत का सबसे बड़ा निजी बैंक बनाने का भी यह श्रेय आदित्य पुरी को ही जाता है।
आदित्य पुरी के रिटायर से पहले उत्तराधिकारी के लिए HDFC Bank ने भारतीय रिजर्व बैंक को तीन नाम भेजे हैं। जिसमे से शशिधर जगदीशन और कायजाद भरूचा बैंक के अधिकारी हैं। शशिधर 1996 में बैंक में आए और 2008 में वे सीईओ बने। भरूचा जो की ईडी हैं। वे बैंक की स्टार्टअप टीम में हैं। तीसरा नाम आता है सिटीबैंक के सुनील गर्ग का । हाल ही में आदित्य पुरी ने कहा था कि HDFC Bank का उत्तराधिकारी हमेशा बैंक के भीतर से ही आना चाहिए। अब यह सारा फैसला आरबीआई पर निर्भर करता है कि उत्तराधिकारी किसे नियुक्त करता है ।
एचडीएफसी बैंक को चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) में 6,658.62 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ हुआ है। जबकि, बैंक की अन्य आय में इसी दौरान करीबन 900 करोड़ रुपए की कमी आई है। और आप को बता दें की बैंक की डिपॉजिट भी 24.6 प्रतिशत बढ़ी है। आज HDFC Bank का मार्केट कैपिटलाइजेशन 6.14 लाख करोड़ रुपए है। शुक्रवार को बीएसई में एचडीएफसी बैंक का शेयर 1.05 फीसदी की गिरावट के बाद 1,118.80 रुपए पर बंद हुआ था।